ईरान का पाकिस्तान पर सर्जिल स्ट्राइक, रिस्ते बिगड़े, राजदूत वापस बुलाया
मुस्लिम नाउ ब्यूरो, इस्लामाबाद
पाकिस्तान ने बलूचिस्तान प्रांत के पंजगुर इलाके में ‘एयर स्ट्राइक’ के बाद ईरान से रिश्ते बिगड़ गए हैं. पाकिस्तान ने ईरान से अपने राजदूत को वापस बुला लिया है.विदेश कार्यालय की प्रवक्ता मुमताज जहरा बलूच ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा, वे हमले का जवाब देने का अधिकार सुरक्षित रखे हुए हैं. पाकिस्तान में ईरानी राजदूत, जो इस समय ईरान में हैं, वापस नहीं लौटेंगे.
विदेश कार्यालय के प्रवक्ता ने आगे कहा कि ईरान और पाकिस्तान के बीच राजनयिक यात्राओं को रोका जा रहा है. पाकिस्तान ने अपने फैसले से ईरानी सरकार को अवगत करा दिया है.फ्रांसीसी समाचार एजेंसी एएफपी के मुताबिक, ईरान के विदेश मंत्री का कहना है कि उनके देश के सशस्त्र बलों ने एक दिन पहले पाकिस्तान में एक ईरानी आतंकवादी समूह को निशाना बनाया था.
ईरान के विदेश मंत्री होसैन अमीर अब्दुल्लाहियन ने स्विट्जरलैंड के दावोस में विश्व आर्थिक मंच के अवसर पर कहा कि मित्र और भाई देश पाकिस्तान के किसी भी नागरिक को ईरानी मिसाइलों और ड्रोनों द्वारा निशाना नहीं बनाया गया.उन्होंने कहा, तथाकथित जैश अल-अदल समूह, एक ईरानी आतंकवादी समूह को निशाना बनाया गया.क्षेत्र में कोई आपराधिक गतिविधि नहीं हुई. ईरानी बलों का आरोप निराधार है.
पंजगुर के कोह सब्ज क्षेत्र के लेवी प्रभारी मुल्ला अब्दुल हमीद ने कहा कि ईरानी मिसाइल हमले में आम आबादी को निशाना बनाया गया. उन्होंने कहा कि हमले में छोटे बच्चों की मौत हो गई, जबकि महिलाएं और बच्चे घायल हो गए.उनके मुताबिक, यह इलाका ईरानी सीमा के पास स्थित है. लोगों के सीमा पार संबंध हैं, लेकिन इस इलाके में ऐसी कोई आपराधिक गतिविधियां नहीं हो रही थीं. ईरानी सेना का आरोप बेबुनियाद और झूठा है.
लेवीज प्रभारी मुल्ला अब्दुल हमीद ने कहा कि ईरानी मिसाइल हमले में आम आबादी को निशाना बनाया गया.ईरान के विदेश मंत्री हुसैन अमीर अब्दुल्लाहियन ने कार्यवाहक विदेश मंत्री जलील अब्बास जिलानी से टेलीफोन पर बातचीत की जिसमें उन्होंने पाकिस्तान में ईरान के हमले पर चर्चा की.
विदेश कार्यालय द्वारा जारी एक बयान के अनुसार, विदेश मंत्री जलील अब्बास जिलानी ने अपने ईरानी समकक्ष से कहा कि ईरान का हमला पाकिस्तान की अखंडता पर हमला और अंतरराष्ट्रीय कानूनों के साथ दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय संबंधों की भावना का उल्लंघन है. यह नकारात्मक भी है.
उन्होंने कहा कि ईरान के इस कदम से द्विपक्षीय संबंधों को गहरा झटका लगा है. पाकिस्तान ईरानी हमले के जवाब में जवाब देने का अधिकार रखता है.उन्होंने कहा कि आतंकवाद पाकिस्तान और ईरान की साझा समस्या है जिसके खिलाफ हमें मिलकर लड़ना होगा.
ईरानी विदेश मंत्री ने कहा कि वह पाकिस्तान की क्षेत्रीय अखंडता और संप्रभुता का सम्मान करते हैं.दूसरी ओर, सैन्य संगठन जैश-उल-अदल ने अपने एक बयान में स्वीकार किया है कि रिवोल्यूशनरी गार्ड्स ने उसके सदस्यों के घरों पर ड्रोन और मिसाइलों से हमला किया.ईरानी बलूचिस्तान और सिस्तान की समाचार संस्था हल विश के मुताबिक जैश-उल-अदल ने अपने बयान में इस हमले को आपराधिक बताया है.
ईरानी सेना ने उन घरों को निशाना बनाया जहां बच्चे और परिवार रह रहे थे. इस हमले में दो छोटे बच्चों की मौत हो गई और दो महिलाएं और एक युवा लड़की घायल हो गई.पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ के प्रवक्ता रऊफ हसन ने एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर अपने बयान में लिखा कि पाकिस्तानी सीमाओं पर ईरान का हमला एक उत्तेजक और आक्रामक कदम है. विदेश कार्यालय की प्रतिक्रिया स्पष्ट रूप से क्षमाप्रार्थी है.
उधर, पाकिस्तान ने संयुक्त सीमा व्यापार समिति की बैठक रद्द कर दी. अपना प्रतिनिधिमंडल वापस बुला लिया.यह बैठक ग्वादर से सटे ईरान के तटीय शहर चाबहार में होने वाली थी, जिसके लिए पाकिस्तानी प्रतिनिधिमंडल चाबहार पहुंचा था, लेकिन पंजगुर में मिसाइल हमले के बाद दोनों देशों के बीच तनावपूर्ण संबंधों के कारण इसे रद्द कर दिया गया.
पाकिस्तानी प्रतिनिधिमंडल में मुख्य कलेक्टर सीमा शुल्क बलूचिस्तान अब्दुल कादिर मेमन, डिप्टी कमिश्नर ग्वादर मेजर सेवानिवृत्त औरंगजेब बादिनी, क्वेटा और ग्वादर चैंबर के सदस्य और अन्य अधिकारी शामिल थे.प्रतिनिधिमंडल में शामिल डिप्टी कमिश्नर ग्वादर औरंगजेब बादिनी ने पुष्टि की कि प्रतिनिधिमंडल ग्वादर के रास्ते घर के लिए रवाना हो गया है.बैठक में ग्वादर और चाबहार से सटे गबाद-रमदान व्यापार गलियारे को और अधिक सक्रिय बनाने और व्यापार को बढ़ावा देने के लिए प्रस्तावों और परामर्श के अलावा कई समझौता ज्ञापनों पर हस्ताक्षर किए जाने थे.
प्रतिनिधिमंडल को चाबहार में चल रही व्यापार प्रदर्शनी में भी भाग लेना था.बता दें कि ईरान ने पाकिस्तान के बलूचिस्तान प्रांत में जैश-उल-अदल के ठिकानों को मिसाइलों और ड्रोन से निशाना बनाया था.विदेश कार्यालय के मुताबिक, बलूचिस्तान के पंजगुर इलाके में ईरान के हमले के परिणामस्वरूप दो बच्चों की मौत हो गई और तीन लड़कियां घायल हो गई.