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अब मैं वही नहीं दोहराना चाहता– इमरान हाशमी का नकारात्मक किरदारों से ब्रेक

मुस्लिम नाउ ब्यूरो,,मुंबई

बॉलीवुड अभिनेता इमरान हाशमी का मानना है कि आज के तेजी से बदलते सिनेमाई परिदृश्य में प्रासंगिक बने रहने की असली कुंजी यह है कि कलाकार खुद को खुले दिमाग के साथ नए दौर के निर्देशकों और युवा सोच से जोड़ें। उनका कहना है कि यदि कोई अभिनेता अपने अतीत की छवि से चिपका रहता है, तो उसका सफर बहुत लंबा नहीं हो सकता।

इमरान, जिन्होंने 2000 और 2010 के दशक में ‘गैंगस्टर’, ‘जन्नत’, ‘राज’, ‘मर्डर’, ‘द डर्टी पिक्चर’ और ‘शंघाई’ जैसी फिल्मों से अपनी गहरी छाप छोड़ी, आज भी बदलते दौर के साथ खुद को ढालते रहने में विश्वास रखते हैं।

“युवा सोच से जुड़ना ही प्रासंगिकता की असली कुंजी है”

पीटीआई को दिए अपने साक्षात्कार में 46 वर्षीय इमरान कहते हैं:

“जब नए अभिनेता और फिल्म निर्माता सामने आते हैं, तो प्रासंगिक बने रहने के लिए उनसे सीखना जरूरी हो जाता है। हमें उनके दिमाग में झांकना होगा, खुद को फिर से गढ़ना होगा, और नए नजरिए से किरदारों और कहानियों को पेश करना होगा। अगर हम अतीत में ही जिएंगे, तो प्रासंगिकता नहीं बचती।”

“खुद को चुनौती देना पसंद है”

इमरान बताते हैं कि उन्हें हमेशा नई चुनौतियाँ और प्रयोग करना पसंद रहा है। उन्होंने Netflix की सीरीज़ ‘बार्ड ऑफ ब्लड’ को 2017-18 में इसलिए किया क्योंकि वह कुछ अलग और नया करना चाहते थे।

“अगर मैं बस वही करता रहता जो मैं पहले कर चुका हूं, तो मैं प्रासंगिकता के खिलाफ काम कर रहा होता।”

“हमें फिल्मों की रणनीति पर पुनर्विचार करने की जरूरत है”

इमरान ने हिंदी सिनेमा के मौजूदा परिदृश्य पर चिंता जताते हुए कहा कि इंडस्ट्री आज एक आत्मसंतुष्टि के दौर से गुजर रही है। उन्होंने कहा:

“हमारी इंडस्ट्री को अब ऐसी फिल्में बनानी चाहिए जो देश की असली जड़ों से जुड़ी हों, न कि केवल पश्चिमी शैली की संवेदनाओं पर आधारित हों। OTT प्लेटफॉर्म्स पर पहले से ही ऐसा कंटेंट भरा पड़ा है। इसलिए, बॉक्स ऑफिस पर आंकड़े लाने के लिए फिल्म बनाने के तरीके में मूलभूत बदलाव ज़रूरी है।”

“दर्शकों की अपेक्षाएं बदल गई हैं, लेकिन इंडस्ट्री पीछे है”

इमरान का मानना है कि दर्शकों की पसंद में बड़ा बदलाव आ चुका है, लेकिन इंडस्ट्री का एक बड़ा वर्ग अब भी इस सच्चाई को स्वीकार नहीं कर रहा है।

“अब दर्शक सिर्फ स्टार पावर से नहीं जुड़ते, उन्हें कहानी में गहराई चाहिए, कुछ नया चाहिए। इसलिए जब मैं स्क्रिप्ट सुनता हूं, तो यही सोचता हूं कि क्या यह कहानी वाकई लोगों से जुड़ पाएगी।”

“अब मैं नकारात्मक भूमिकाओं को लेकर सतर्क हूं”

सलमान खान की फिल्म ‘टाइगर 3’ में इमरान ने मुख्य खलनायक की भूमिका निभाई थी, जिसे काफी सराहा गया। हालांकि, अब वह वैसी भूमिकाओं से दूरी बना रहे हैं।

“‘टाइगर 3’ का किरदार मेरे लिए खास था, उसमें गहराई थी। लेकिन अब मैं ऐसी भूमिकाओं को बार-बार नहीं दोहराऊंगा।”

“ग्राउंड ज़ीरो” से इमरान की वापसी

इमरान हाशमी अब अपनी अगली फिल्म ‘ग्राउंड ज़ीरो’ के साथ बड़े पर्दे पर लौट रहे हैं, जो 25 अप्रैल 2025 को रिलीज़ होने जा रही है। यह एक जबरदस्त एक्शन-थ्रिलर है, जिसमें उनके साथ साईं ताम्हणकर और ज़ोया हुसैन भी अहम भूमिकाओं में हैं।

इस फिल्म का निर्देशन तेजस देओस्कर ने किया है और निर्माण किया है फरहान अख्तररितेश सिधवानी की एक्सेल एंटरटेनमेंट ने।

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