गाज़ा से लेकर तेहरान तक ट्रम्प का शक्ति प्रदर्शन, हिज़बुल्लाह-हमास पर बड़ा बयान
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रियाद/इस्तांबुल/तेहरान
पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने बुधवार को सऊदी अरब की राजधानी रियाद में खाड़ी सहयोग परिषद (GCC) के नेताओं से मुलाकात के दौरान ईरान को चेतावनी देते हुए कहा कि अगर तेहरान परमाणु कार्यक्रम पर किसी नए समझौते की उम्मीद करता है, तो उसे पूरे पश्चिम एशिया में फैले अपने प्रॉक्सी नेटवर्क – जिसमें हमास, हिज़बुल्लाह और यमन के हौथी विद्रोही शामिल हैं – का समर्थन तत्काल बंद करना होगा।
ट्रम्प की दो टूक: “अब आतंक का अंत करें, वर्ना कोई समझौता नहीं”
क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान की अध्यक्षता में हुई इस उच्चस्तरीय बैठक में ट्रम्प ने कहा,
“ईरान को आतंक का समर्थन बंद करना होगा। अपने खूनी प्रॉक्सी युद्धों को समाप्त करना होगा और परमाणु हथियारों की खोज को स्थायी रूप से छोड़ना होगा। हम ईरान को परमाणु हथियार हासिल करने की अनुमति नहीं देंगे।”
उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि वह परमाणु समझौते को लेकर आशावान हैं, लेकिन अब वह “अवसर की खिड़की बंद होती देख रहे हैं।”
परमाणु वार्ता की नई कोशिश: इस्तांबुल में E3 देशों से बैठक
ट्रम्प की चेतावनियों के बीच, ईरान ने पुष्टि की है कि वह इस सप्ताह के अंत में तुर्की के इस्तांबुल में ब्रिटेन, फ्रांस और जर्मनी (E3) के साथ परमाणु वार्ता का एक नया दौर शुरू करेगा।
ईरान के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता एस्माईल बाकेई ने बताया कि यह बैठक शुक्रवार को “उप विदेश मंत्रियों के स्तर” पर होगी।
ई3 वे यूरोपीय शक्तियां हैं जो 2015 के ऐतिहासिक परमाणु समझौते (JCPOA) की मूल हस्ताक्षरकर्ता थीं। उस समझौते को ट्रम्प ने 2018 में राष्ट्रपति रहते हुए अमेरिका को एकतरफा बाहर निकालकर निष्प्रभावी कर दिया था।
“मध्यस्थता का समय”: ट्रम्प-शरा बैठक और सीरिया पर नया अध्याय
खाड़ी बैठक के तुरंत बाद ट्रम्प ने सीरिया के नए राष्ट्रपति अहमद अल-शरा से भी भेंट की – यह वही अल-शरा हैं जो एक समय अल-कायदा से जुड़े विद्रोही थे और अमेरिकी सेना के खिलाफ इराक में लड़ चुके हैं। अब वे दमिश्क में असद शासन के पतन के बाद सत्ता में आए हैं। ट्रम्प ने प्रिंस मोहम्मद और तुर्की के राष्ट्रपति एर्दोगन के अनुरोध पर यह मुलाकात की।
इस मुलाकात को मध्य पूर्व में एक “नई कूटनीतिक दिशा” के रूप में देखा जा रहा है। ट्रम्प ने संकेत दिया कि अमेरिका सीरिया पर लगे प्रतिबंधों को हटाने को तैयार है ताकि “देश के पुनर्निर्माण में सहायता मिल सके।”
“हिज़बुल्लाह का समय समाप्त हो गया है”: ट्रम्प
ट्रम्प ने लेबनान में ईरान समर्थित हिज़बुल्लाह को लेकर भी कड़ा रुख अपनाते हुए कहा कि अब समय है कि
“हिज़बुल्लाह आतंकवादियों की पकड़ से मुक्त एक भविष्य की ओर बढ़ा जाए।”
उन्होंने दावा किया कि पिछले साल इज़रायल के साथ युद्ध और सीरिया में असद शासन के पतन के बाद हिज़बुल्लाह काफी कमजोर हो चुका है।
गाजा, कतर और अमेरिका का त्रिकोणीय समीकरण
खाड़ी बैठक के बाद ट्रम्प कतर पहुंचे, जहां उनका राजकीय स्वागत हुआ। कतर इस समय गाजा युद्ध में संघर्षविराम की मध्यस्थता में अहम भूमिका निभा रहा है, विशेषकर हमास के साथ बातचीत के जरिए। कतर की राजधानी दोहा स्थित अल-उदीद एयरबेस, अमेरिका की सेंट्रल कमांड का अग्रिम मुख्यालय भी है, जिससे इस देश का रणनीतिक महत्व और बढ़ गया है।
“तेहरान से बात जारी रहेगी, लेकिन दबाव भी बढ़ेगा”
ईरान के विदेश मंत्री अब्बास अराघची ने ट्रम्प की टिप्पणियों को “धोखाधड़ी” बताया, लेकिन उन्होंने प्रॉक्सी नेटवर्क को लेकर सीधे कोई प्रतिक्रिया नहीं दी।
अराघची ने यह भी कहा कि
“हम अमेरिका से वार्ता के साथ यूरोपीय देशों से भी संवाद जारी रखना चाहते हैं, हालांकि यूरोप की नीति ने उन्हें अलग-थलग कर दिया है।”
ओमान की मध्यस्थता में अमेरिका और ईरान के बीच रविवार को एक और वार्ता हुई, जिसे ईरानी पक्ष ने “कठिन लेकिन उपयोगी” और अमेरिकी पक्ष ने “उत्साहजनक” बताया।
ईरान के खिलाफ ‘स्नैपबैक’ प्रतिबंध का खतरा
यूरोपीय देशों के बीच फिलहाल यह भी चर्चा जारी है कि क्या वे 2015 के समझौते में निहित “स्नैपबैक” तंत्र को सक्रिय करें – जिससे ईरान के गैर-अनुपालन की स्थिति में संयुक्त राष्ट्र प्रतिबंधों की बहाली की जा सके। यह विकल्प अक्टूबर में समाप्त हो जाएगा।
विश्लेषण: ट्रम्प की वापसी के संकेत और ईरान की जिद – क्या मध्य पूर्व में स्थिरता की कोई राह है?
डोनाल्ड ट्रम्प के हालिया दौरे को उनके संभावित चुनावी अभियान की “अंतरराष्ट्रीय रीहर्सल” के रूप में भी देखा जा रहा है। ईरान, हमास, हिज़बुल्लाह और सीरिया के पुराने समीकरणों में ट्रम्प के हस्तक्षेप से यह स्पष्ट है कि 2025 के मध्य तक अमेरिका का दबाव अभियान फिर से सक्रिय हो सकता है।
हालांकि, ईरान अभी भी सैन्य कार्रवाई के बजाय राजनयिक वार्ताओं पर जोर दे रहा है – बशर्ते यह उसकी संप्रभुता में हस्तक्षेप न हो।