नकाब में swiggy का बैग लिए चलने वाली महिला कौन है ?
मुस्लिम नाउ ब्यूरो/ लखनऊ
नदवा के पास नकाब में swiggy का बैग लादे एक महिला निकलती है, कोई फोटो खींचकर सोशल मीडिया पर डाल देता है और तस्वीर वायरल होना शुरू हो जाती है. कुछ लोगों को इस महिला से हमदर्दी होती है और कुछ लोग उसके इस काम की सराहना करते हैं.
ढूंढते हुए हम इस महिला के घर पहुंचे तो देखा 10 बाय 10 के कमरे में रिजवाना अपने तीन बच्चों के साथ जिंदगी गुजार रही है, रिजवाना की तीन बेटियां- एक बेटा है. जिद्दो जहद भरी जिंदगी गुजार रही रेहाना की कहानी दर्दनाक है लेकिन हौसले से भरी हुई है.
अपनी कहानी बताते हुए रिजवाना कहते हैं, मेरी 23 साल पहले शादी हुई थी. शौहर रिक्शा चलाते थे. एक दिन रिक्शा चोरी हो गया. वह भीख मांगने लगे. फिर एक दिन वह घर नहीं आए. पिछले 3 साल से हम लोग उन्हें ढूंढ रहे हैं. बड़ी बेटी लुबना की शादी कर दी दो बेटियां और एक छोटा बेटा है उनकी जिंदगी संवारने के लिए मेहनत कर रही हूं. सुबह शाम दो तीन घरों में झाड़ू पोछा करती हूं. महीने का पंद्रह 1500 रुपये इस काम से मिल जाता है. दोपहर में डिस्पोजल कप और ग्लास बेचती हूं. कुल मिलाकर महीने में 5 से 6000 कमा लेती हूं.
जब हमने swiggy वाले बैग के बारे में पूछा तो उन्होंने बताया, वह swiggy में काम नहीं करती हैं. दरअसल डिस्पोजल ग्लास और कप के लिए एक मजबूत और बड़ा बेड चाहिए था. एक दिन डालीगंज पुल पर देखा कि एक आदमी यह बैग बेच रहा है, मैंने 50 रुपये में उससे यह बैग खरीदा.
जब वो काम के लिए बाहर रहती है तो उनकी बेटी घर संभालती है वही उनकी बेटियां अपनी मां पर बहुत गर्व करती हैं.