मुसलमानों को शैतानी बताने वाले वीडियो हटाएंः अमन चोपड़ा के 5 शो के खिलाफ न्यूज 18 इंडिया को एनबीडीएसए का आदेश
मुस्लिम नाउ ब्यूरो, नई दिल्ली
न्यूज ब्रॉडकास्टिंग एंड डिजिटल स्टैंडर्ड्स अथॉरिटी (एनबीडीएसए) ने न्यूज ब्रॉडकास्टर न्यूज18 इंडिया को सांप्रदायिकता फैलाने वाले वीडियो हटाने का आदेश दिया है. कहा कि यह खबरें गुमराह करने वाली हैं और इससे सांप्रदायिकता को हवा मिलती है. इसने चैनल पर 25,000 रुपये का जुर्माना लगाया. उसे भविष्य में इस कार्रवाई को दोहराने के खिलाफ चेतावनी दी.
एनबीडीएसए के जारी पांच आदेश अमन चोपड़ा द्वारा एंकर किए गए प्राइमटाइम शो से संबंधित हैं. सभी पांच मामलों में, नयूज 18 इंडिया को आचार संहिता और प्रसारण मानकों का उल्लंघन करते पाया गया.
पहले आदेश में पिछले साल 4 अक्टूबर को प्रसारित शो का उल्लेख किया गया, जब चोपड़ा ने गुजरात के खेड़ा गांव में सार्वजनिक रूप से पिटाई के मामले को गलत तरह से पेश किया. कहा कि गुजरात पुलिस ने उनके साथ ‘‘डांडिया खेला.”
चोपड़ा, अपने प्राइमटाइम शो में गुजरात पुलिस अधिकारियों के एक समूह को खुले तौर पर कुछ मुस्लिम पुरुषों पर हमला करते दिखाते हैं, जिन पर नवरात्रि उत्सव के दौरान एक गरबा कार्यक्रम में कथित तौर पर पथराव का आरोप था.
चोपड़ा के कुछ बिगड़े बोल देखिए, जिसपर एक्शन लिया गया. अमन चोपड़ा कहते हैं,‘ गुजरात पुलिस ने उनका इलाज किया.’ गरबे में इतनी दिलचस्पी क्यों है मुस्लिम युवाओं को? कोई और त्योहार में इतना इंटरेस्ट नहीं है, लेकिन पहचान छुपाकर क्यों जाते हैं. और ऐसा क्या मिल रहा है गरबे में कि इस्लाम की कठोरता खत्म हो जाती है. इसको लेकर चोपड़ा के खिलाफ दो शिकायतें दर्ज की गईं . एक इंद्रजीत घोरपड़े द्वारा और दूसरी सिटीजन फॉर जस्टिस एंड पीस द्वारा.
एनबीडीएसए ने कहा, “न्यूज18 इंडिया पुलिस हिंसा की निंदा करने में विफल रहा. इसके अलावा शो में इस्तेमाल किए गए टिकर से यह आभास हुआ कि सभी मुस्लिम पुरुषों ने केवल गुप्त उद्देश्यों से गरबा समारोह में भाग लिया था.
दूसरा आदेश 29 सितंबर को प्रसारित शो पर आधारित था. घोरपड़े द्वारा दायर की गई शिकायत में कहा गया है कि कार्यक्रम को सभी मुस्लिम पुरुषों को अपराधी दिखाने के लिए प्रसारित किया गया था, जो हिंदू महिलाओं को नुकसान पहुंचानेएधोखा देने की कोशिश कर रहे थे.
शिकायत में कहा गया, आक्षेपित प्रसारण में पूरे मुस्लिम समुदाय और विशेष रूप से पुरुषों को राक्षस बना दिया गया.
इसपर न्यूज18 इंडिया को सार्वजनिक डोमेन से ऐसे तमाम वीडियो हटाने के आदेश दिए गए और चैनल को सांप्रदायिक वैमनस्य पैदा करने वाले टिकर का उपयोग न करने के लिए आगाह किया.
तीसरा आदेश 5 अगस्त को चोपड़ा द्वारा आयोजित एक कार्यक्रम पर आधारित है. शिकायत एम हुजैफा द्वारा दायर की गई है, जिन्होंने कहा है कि उक्त कार्यक्रम का शीर्षक देश नहीं झुकेंगे गजवा ए हिंद , बांग्लादेश के साथ उत्तर प्रदेश. दरअसल यह शीर्षक असम के सीमावर्ती क्षेत्रों के पास जनसांख्यिकीय परिवर्तन पर आधारित रिपोर्टिंग को लेकर था.
टैगलाइन जैसे बॉर्डर पर गजवा-ए-हिंद, बॉर्डर का इस्लामीकरण, बॉर्डर पर बढ़े-भाईजान, खतरानाक है प्लान, प्रसारित किया गया और मुस्लिम कॉरिडोर, मुस्लिम बॉर्डर, जनसंख्या जिहाद आदि जैसे शब्दों को प्रसारित किया गया.
शिकायतकर्ता ने कहा कि चोपड़ा ने भारत को एक हिंदू राष्ट्र के रूप में उल्लेख किया है जिसका अर्थ है कि वह धर्मनिरपेक्षता और देश के लोकतांत्रिक ताने-बाने में विश्वास नहीं करते. अपने कार्यक्रम में मुस्लिम विरोधी टिकर चलाए.
शिकायत में कहा गया है, आक्षेपित शो ने स्पष्ट रूप से आचार संहिता और प्रसारण मानकों का उल्लंघन किया, विशेष रूप से स्व-नियमन के सिद्धांतों और रिपोर्टिंग को कवर करने वाले विशिष्ट दिशानिर्देशों का.
एनबीडीएसए ने कहा कि अगर न्यूज 18 इंडिया ने घुसपैठ के कारण देश के सीमावर्ती क्षेत्रों के आसपास जनसांख्यिकीय परिवर्तन के संबंध में केवल राष्ट्रीय सुरक्षा चिंताओं को उठाया होता और इस पर सरकार की प्रतिक्रिया मांगी होती तो कोई समस्या नहीं होती. इसके बजाय, चैनल ने सरकार से जवाबदेही मांगे बिना मुद्दे को सांप्रदायिक रंग देने का प्रयास किया.
चैथा आदेश 18 जनवरी, 2022 को उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव के दौरान प्रसारित एक शो पर आधारित था, जहां मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने एक बयान दिया, यह 80 प्रतिशत बनाम 20 प्रतिशत है. इस बारे में सिटीजंस फॉर जस्टिस एंड पीस और अनुज दुबे ने शिकायत दर्ज कराई थी.
एनबीडीएसए ने अपने आदेश में कहा कि चैनल के एंकर अमन चोपड़ा से बेजा रंग दिया. उनके लहजे में धार्मिक उपक्रम था और प्रकृति में सांप्रदायिक.