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इंडिया बनाम भारत विवाद पर डीएमके सांसद कोनिमोझी ने उठाए सवाल-क्या आरएसएस देश का एजेंडा तय करेगा ?

मुस्लिम नाउ ब्यूरो,नई दिल्ली

भारत बनाम इंडिया विवाद तूल पकड़ चुका है. इस क्रम में राष्ट्रपति द्वारा भेजे गए जी20 शिखर सम्मेलन के रात्रिभोज के निमंत्रण पर जर्बदस्त सियासी प्रतिक्रिया हुई है. डीएमके सांसद कनिमोझी ने मंगलवार को सवाल उठाया कि क्या राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) इसके लिए एजेंडा तय कर रहा है.

बता दें कि हाल में आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत ने इंडिया की जगह भारत की वकालत की थी. तब खास महत्व नहीं दिया गया था, पर अब केंद्र सरकार भी इसकी पैरवी में आ गई है. बताया जा रहा है कि संसद का विशेष सत्र संविधान से इंडिया शब्द हटाने के लिए ही बुलाया जा रहा है.

मेजे की बात है कि आरएसएस और सत्तारूढ़ भाजपा की ओर से इंडिया पर भारत को तरजीह देने का ख्याल तब आया, जब विपक्षी दलांे ने इंडिया समूह बनाया है. इसके बाद से नरेंद्र मोदी इस शब्द को लेकर विपक्षी दलों पर कई बार हमलावर हो चुके हैं. सवाल है कि क्या इंडिया का खौफ सरकार, बीजेपी और आरएसएस पर सवार हो चुका है ?

कनिमोझी ने कहा कि इसे (जी20 शिखर सम्मेलन के रात्रिभोज निमंत्रण) को पढ़ने से बहुत सारे प्रश्न सामने आते हैं. क्या आरएसएस पूरे देश के लिए एजेंडा तय कर रहा है?

यह कहते हुए कि प्रेजिडेंट आॅफ इंडिया के बजाय भारत के राष्ट्रपति शब्द का प्रयोग अभूतपूर्व है. उन्होंने इस कदम के पीछे की राजनीति पर सवाल उठाया है. कहा,हमने कभी भी भारत के राष्ट्रपति के नाम पर निमंत्रण जाते नहीं देखा है. यह हमेशा प्रेजिडेंट आॅफ इंडिया या प्राइमिनिस्टर आॅफ इंडिया के नाम पर होता है. अब उन्होंने ऐसा क्यों किया है? इसके पीछे क्या इरादा है? क्या इसके पीछे राजनीति है?” डीएमके सांसद ने सवाल किया.

कनिमोझी ने कहा, यह (भारत) इतने सालों से संविधान में है, लेकिन किसी ने इसका इस्तेमाल नहीं किया. हाल ही में आरएसएस प्रमुख ने कहा कि इंडिया का नाम बदलना होगा.केंद्र द्वारा संसद का विशेष सत्र बुलाए जाने के संबंध में उन्होंने कहा कि विपक्ष को एजेंडा नहीं पता.

कनिमोझी ने कहा, हमें नहीं पता कि संसद का विशेष सत्र क्यों बुलाया गया है ? हमें नहीं पता कि एजेंडा क्या है ?इससे पहले दिन में, कांग्रेस के राज्यसभा सांसद जयराम रमेश ने दावा किया था कि राष्ट्रपति भवन ने 9 सितंबर को जी20 रात्रिभोज के लिए सामान्य प्रेजिडेंट आॅफ इंडिया के बजाय भारत के राष्ट्रपति के नाम पर निमंत्रण भेजा है.

भाजपा को विपक्ष के भारतीय राष्ट्रीय विकास समावेशी गठबंधन (इंडिया) की भारी आलोचना का सामना करना पड़ा और वरिष्ठ नेताओं ने इस तरह के कदम के लिए केंद्र सरकार की कड़ी आलोचना की.इसपर प्रतिक्रिया देते हुए, दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने केंद्र पर कटाक्ष करते हुए पूछा कि क्या वे राष्ट्र का नाम बदलकर भारतीय जनता पार्टी कर देंगे यदि इंडिया ब्लॉक भारत में बदल जाता है.

मंगलवार को दिल्ली में एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए, केजरीवाल ने कहा कि भाजपा के नेतृत्व वाली सरकार ऐसा इसलिए कर रही है, क्योंकि विपक्षी गुट ने खुद को नाम दिया है इंडिया रखा है.उन्होंने कहा, मेरे पास इस बारे में कोई आधिकारिक जानकारी नहीं है, लेकिन प्रेस के माध्यम से पता चला है, ऐसा इसलिए किया जा रहा है क्योंकि इंडिया विपक्षी दलों का गठबंधन है. अगर कोई उनके नाम से पार्टी बनाएगा तो क्या वे देश का नाम बदल देंगे? यह 140 करोड़ लोगों का देश है. क्या होगा अगर इंडिया ब्लॉक कल बैठक कर अपना नाम बदलकर भारत करने का फैसला करे? तो क्या वे भारत का नाम बदलकर बीजेपी कर देंगे?”

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