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हरियाणा में खुलेआम धमकी मिलने से मुसलमानों में खौफ, 400 से अधिक मुस्लिम प्रवासी परिवारों ने मिलियन सिटी गुरूग्राम छोड़ा

मुस्लिम नाउ ब्यूरो,गुरुग्राम

हरियाणा के नूंह में सांप्रदायिक हिंसा के बाद मुसलमानों को खुलेआम धमकियां मिल रही हैं. इस सूबे और इससे लगे दिल्ली की सड़कों पर पुलिस की मौजूदगी में मुस्लिमों को मारने-काटने की बातें की जा रही हैं. इससे गुरूग्राम में रह रहे प्रवासी मुस्लिम इतने घबरा गए हैं कि 400 से अधिक प्रवासी परिवार अपने मूल स्थानों के लिए रवाना हो गए.

यूं तो कहने को नूंह हिंसा और गुरूग्राम के सेक्टर 57 के इमाम की हत्या के बाद स्थिति नियंत्रण में है. मगर बाधित इंटरनेट और कर्फ्यू और धारा 144 बताते हैं कि अंदर से स्थिति ठीक नहीं. किसी तरह से मुसलमानों पर फिर न हमला कर दिया जाए, इसके लिए नूंह के पुलिस प्रशासन और गुरूग्राम के जमीयत उलेमा के सदर ने मुसलमानों से जुमे की नमाज अपने घरों में पढ़ने की अपील की है.

इस बीच नूंह हिंसा में बराबर के शरीक विश्व हिंदू परिषद के प्रदर्शन और खुलेआम मुसलमानों को धमकियां देने से स्थिति अब भी तनापूर्ण बनी हुई है. चिंताजनक बात यह है कि पुलिस की मौजूदगी और थाने के बाहर खड़ होकर मुसलमानों को धमकियां दी जा रही हैं और उनके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की जा रही है. तनाव के चलते कई विदेशी कंपनियां ने अपने कर्मचारों को वर्कफ्राॅम होम करने के आदेश दिए हैं. सड़कों पर इनदिनों ट्रैफिक भी कम है.

ऐसे में प्रवासी मुस्लिम मजदूरों ने शहर छोड़ना बेहर समझा. न्यूज एजेंसी आईएएनएस की एक खबर के अनुसार,जहां 20 परिवार पालदा गांव से भाग गए हैं, वहीं लगभग 400 परिवार सेक्टर 70 में झुग्गियां छोड़ने के लिए मजबूर हो गए हैं. उनमें से ज्यादातर पश्चिम बंगाल, बिहार और झारखंड के प्रवासी श्रमिक हैं.मजूदरों का कहना है कि उन्हें खुलेआम जान से मारने की धमकी मिल रही हैं. कहा जा रहा है कि वे नहीं हटे तो उनकी झुग्गियों में आग लगा दी जाएगी.

हिंसा के बाद गुरुग्राम में नाई की दुकानें, कबाड़ी की दुकानें और होटल (मुस्लिम समुदाय के लोगों द्वारा संचालित) पर ताला लगा दिया गया. अशोक विहार के एक स्कूल की टीचर ने बताया कि उनके यहां पढ़ने वाले एक मुस्लिम नाई के बेटे ने स्कूल आना बंद कर दिया है. उसके परिजनों का कहना है कि हालात सामान्य होने तक वह अपने पैतृक गांव लौट गए हैं.

गुरुग्राम में मानेसर और आसपास के इलाकों में बड़ी संख्या में प्रवासी परिवार रहते थे, जो जा चुके हैं.अल्पसंख्यक समुदाय से संबंधित एक व्यक्ति ने कहा, लोगों का एक समूह मोटरसाइकिलों पर आया और हमें धमकी दी कि अगर हम वहां से नहीं हटेंगे, तो वे हमारी झुग्गी और हमारे वाहनों में आग लगा देंगे. गुरुग्राम में हिंसक घटना के बाद पुलिस की तैनाती बढ़ा दी गई है, लेकिन हम डरे हुए हैं. स्थिति में सुधार होने पर हम वापस लौट आएंगे.

हालाकि, गुरुग्राम जिला प्रशासन ने आश्‍वासन दिया है कि प्रवासी परिवारों की सुरक्षा की जाएगी और पूरे गुरुग्राम में, खासकर संवेदनशील इलाकों में पुलिस सुरक्षा बढ़ा दी गई है.