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वक्फ संशोधन विधेयक के खिलाफ दिल्ली में विशाल प्रदर्शन, मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड का आह्वान

मुस्लिम नाउ ब्यूरो, नई दिल्ली

वक्फ संपत्तियों को लेकर केंद्र सरकार द्वारा प्रस्तावित वक्फ संशोधन विधेयक 2024 के खिलाफ आज सोमवार, 17 मार्च 2025 को दिल्ली के जंतर-मंतर पर देशभर के मुसलमानों और सामाजिक संगठनों द्वारा विशाल धरना-प्रदर्शन आयोजित किया जा रहा है। इस प्रदर्शन का नेतृत्व ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड (AIMPLB) कर रहा है।

क्या है वक्फ संशोधन विधेयक 2024?

वक्फ बोर्ड के अधिकारों को सीमित करने और सरकारी नियंत्रण बढ़ाने के आरोपों के बीच यह विधेयक लाया जा रहा है। कई मुस्लिम संगठनों और लीडर्स का मानना है कि यह कानून वक्फ संपत्तियों को नष्ट करने और उन्हें सरकारी कब्जे में लेने का प्रयास है।

सरकार के प्रस्तावित विधेयक में शामिल प्रमुख प्रावधान:

  1. वक्फ संपत्तियों पर सरकारी नियंत्रण बढ़ाना।
  2. वक्फ बोर्ड की प्रशासनिक शक्तियों में कटौती करना।
  3. वक्फ संपत्तियों के प्रबंधन को लेकर सरकार को अंतिम अधिकार देना।
  4. वक्फ संपत्तियों को सार्वजनिक प्रयोजनों के लिए अधिग्रहण करने की संभावना।

इस कानून का मुस्लिम समाज में व्यापक विरोध हो रहा है, क्योंकि इससे वक्फ बोर्ड की स्वायत्तता समाप्त हो सकती है और धार्मिक स्थलों तथा संपत्तियों पर सरकार का हस्तक्षेप बढ़ सकता है।

क्यों हो रहा है वक्फ संशोधन बिल का विरोध?

वक्फ बोर्ड के अंतर्गत भारत में हजारों संपत्तियां आती हैं, जिनका उपयोग मस्जिदों, मदरसों, अनाथालयों और गरीब मुसलमानों की मदद के लिए किया जाता है। प्रदर्शनकारियों का कहना है कि सरकार इस कानून के जरिए वक्फ संपत्तियों को जब्त करना चाहती है, जिससे मस्जिदों और धार्मिक स्थलों पर भी सरकारी नियंत्रण हो जाएगा।

विरोध करने वाले संगठनों के अनुसार:

  • मुस्लिम समुदाय की सहमति के बिना यह विधेयक लाया जा रहा है।
  • सरकार वक्फ संपत्तियों का निजीकरण कर सकती है।
  • गरीब मुसलमानों के लिए चलाई जा रही योजनाओं को बंद किया जा सकता है।
  • यह मुस्लिम समुदाय की धार्मिक स्वतंत्रता पर हमला है।

ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड और अन्य संगठनों का मानना है कि अगर यह कानून पारित हुआ, तो आगे चलकर मस्जिदों और अन्य धार्मिक स्थलों पर भी सरकार का नियंत्रण हो सकता है।

क्या कह रहे हैं मुस्लिम लीडर और धार्मिक संगठन?

मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ने इसे “मुसलमानों के लिए जीवन-मरण का सवाल” करार दिया है और सभी धर्मनिरपेक्ष दलों और संगठनों से इस बिल का विरोध करने का आग्रह किया है।

AIMPLB ने कहा:
“वक्फ संशोधन विधेयक, मुसलमानों की संपत्तियों को छीनने और धार्मिक आजादी को प्रभावित करने की एक साजिश है। हम इसे पूरी तरह अस्वीकार करते हैं और इसका पुरजोर विरोध करेंगे।”

मौलाना अरशद मदनी (जमीयत उलेमा-ए-हिंद):
“सरकार को मुसलमानों की संपत्तियों पर नियंत्रण का कोई अधिकार नहीं है। यह संविधान और धार्मिक स्वतंत्रता के खिलाफ है।”

मजलिस-ए-इत्तेहाद-उल-मुस्लिमीन (MIM) के नेता असदुद्दीन ओवैसी:
“यह कानून वक्फ संपत्तियों को बेचने की साजिश है। हम इसे संसद में भी चुनौती देंगे और सड़कों पर भी विरोध करेंगे।”

क्या वाकई वक्फ बोर्ड के पास सबसे ज्यादा संपत्तियां हैं?

कुछ हिंदू संगठनों और सरकार समर्थक लोगों का दावा है कि भारतीय सेना और भारतीय रेलवे के बाद वक्फ बोर्ड के पास सबसे ज्यादा जमीनें हैं। हालांकि, मुस्लिम संगठनों का कहना है कि यह महज एक झूठा प्रचार है।

  • ओडिशा और दक्षिण भारत के कई मंदिरों के पास वक्फ बोर्ड से अधिक संपत्ति है।
  • रेलवे की भूमि पर वक्फ संपत्तियों से कहीं अधिक अवैध कब्जे हैं।
  • वक्फ संपत्तियां मुख्य रूप से दान और धार्मिक कार्यों के लिए इस्तेमाल होती हैं, जबकि मंदिरों की संपत्ति से व्यवसाय भी होता है।

मुस्लिम समुदाय का अगला कदम क्या होगा?

  1. मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ने सभी धर्मनिरपेक्ष दलों से समर्थन मांगा है।
  2. देशभर में विरोध प्रदर्शन तेज किए जाएंगे।
  3. सुप्रीम कोर्ट में इस विधेयक के खिलाफ याचिका दायर करने की संभावना।
  4. मुस्लिम नेताओं और धार्मिक संगठनों की एक बैठक जल्द बुलाई जाएगी।

धरना-प्रदर्शन का आयोजन

ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ने वक्फ संशोधन विधेयक के खिलाफ एक बड़े विरोध प्रदर्शन का आह्वान किया है।

📍 स्थान: जंतर मंतर, नई दिल्ली
📅 तारीख: 17 मार्च 2025, सोमवार
समय: सुबह 10 बजे से

सभी मीडिया हाउस और सामाजिक संगठनों से अपील की गई है कि वे इस धरने को कवर करें।

काबिल ए गौर

वक्फ संशोधन विधेयक 2024 को लेकर मुस्लिम समुदाय में जबरदस्त विरोध है। यह कानून वक्फ बोर्ड की संपत्तियों पर सरकारी नियंत्रण को बढ़ा सकता है और मुस्लिम धार्मिक स्वतंत्रता को प्रभावित कर सकता है। अब सवाल यह है कि क्या केंद्र सरकार इस विधेयक को पास करने में सफल होगी, या मुस्लिम संगठनों का विरोध सरकार को अपने फैसले पर पुनर्विचार करने के लिए मजबूर कर देगा?

👉 क्या आप वक्फ संशोधन विधेयक के पक्ष में हैं या विरोध में? हमें कमेंट में बताएं।

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