NewsTOP STORIES

वीडियो वायरल : गुजरात विवि में तरावीह पढ़ते विदेशी छात्रों पर हमला, वाहन भी तोड़े

मुस्लिम नाउ ब्यूरो, नई दिल्ली

रमजान 2024 जैसे-जैसे आगे बढ़ रहा है, इबादत में खलल डालने की घटनाएं एक के बाद एक सामने आ रही हैं. अब एक घटना गुजरात विश्वविद्यालय की सामने आई है, जहां तरावीह की विशेष नमाज पढ़ते विदेशी छात्रों पर हमला किया गया.

इस घटना से संबंधित जो वीडियो सोशल मीडिया पर साझा किया गया है, यदि वह सही है तो पुलिस की मौजूदगी में हमलावर हमाला औेर तोड़-फोड़ के बाद भागते नजर आए, पर उन्हें रोकने-पकड़ने की किसी भी पुलिस वाले ने कोशिश नहीं की.जब कि एक वीडियो में अंग्रेजी बोलने वाले एक छात्र की हमलावर को लेकर चिल्लाने की आवाज साफ सुनी जा सकती है.

वीडिया में आठ, दस हमलावरों को, जहां तरावीह पढ़ी जा रही है, वहां पत्थर फेंकते, गालियां बकते और बाहर खड़े वाहनों में तोड़फोड़ करते देखा जा सकता है.
सोशल मीडिया पर ऐसे चार वीडियो फैक्ट चेकर अल्ट न्यूज के मोहम्मद जुबेर ने साझा किया है. इस घटना के बार में उन्हांेने लिखा है-

गुजरात विश्वविद्यालय में अध्ययनरत अंतर्राष्ट्रीय छात्र (अफ्रीका, उज्बेकिस्तान, अफगानिस्तान आदि) @gujuni1949. दावा है कि उन्हें पीटा गया. उन पर और उनके हॉस्टल (ए-ब्लॉक) पर पत्थर फेंके गए. जब वे हॉस्टल प्रशासन द्वारा उन्हें आवंटित हॉस्टल ए-ब्लॉक के अंदर एक जगह पर रमज़ान तरावीह की पेशकश कर रहे थे, तो वाहनों को नष्ट कर दिया गया. कुछ छात्र घायल हैं और फिलहाल एसवीपी अस्पताल में भर्ती हैं. आप भीड़ को हॉस्टल के अंदर छात्रों पर पथराव करते हुए धार्मिक नारे लगाते हुए सुन सकते हैं.

इस बारे में एआईएमआईएम के सदर ओवैसे ने खट्टरपंथियों, अमित शाम और पीएम नरेंद्र मोदी तथा एस जयशंकर को आड़े हाथ लेते हुए एक्स पर लिखा है-कितनी शर्म की बात है. जब आपकी भक्ति और धार्मिक नारे तभी सामने आते हैं जब मुसलमान शांतिपूर्वक अपने धर्म का पालन करते हैं. जब आप मुसलमानों को देखकर बेवजह क्रोधित हो जाते हैं. यह सामूहिक कट्टरवाद नहीं तो क्या है? यह @AmitShah का गृह राज्य है. & @नरेंद्र मोदी.

क्या वे कड़ा संदेश भेजने के लिए हस्तक्षेप करेंगे? मैने अपनी सांस नहीं रोक रखी है. @DrSजयशंकर. घरेलू मुस्लिम विरोधी नफरत भारत की सद्भावना को नष्ट कर रही है.इस मामले में पुलिस ने क्या कार्रवाई की है, अभी पता नहीं चला है.

पांच छात्र घायल

खबरों के मुताबिक, पांच छात्र घायल हो गए और उन्हें अहमदाबाद के एसवीपी अस्पताल में भर्ती कराया गया है.Maktoobmedia की एक रिपोर्ट में कहा गया है कि भर्ती होने वालों में अफगानिस्तान से हारून जब्बार, तुर्कमेनिस्तान से आजाद और श्रीलंका से एक ईसाई छात्र मारियो शामिल हैं, अन्य दो छात्र अफ्रीकी देशों से हैं.

साइबर सुरक्षा के छात्र अहमद वारिस सखा ने मकतूब को बताया, “चूंकि विश्वविद्यालय परिसर या छात्रावास परिसर के अंदर कोई मस्जिद नहीं है. समय पर प्रार्थना करने के लिए हमें यही अस्थायी समाधान मिला. कस्बे में मस्जिद बहुत दूर है. इसलिए हम अपने छात्रावास के मैदान में एकत्र होते हैं। हम एशियाई और अफ्रीकी देशों के 12 मुस्लिम छात्र हैं.

सखा ने कहा कि जब वे अंतरराष्ट्रीय छात्रों को आवंटित छात्रावास के ए-ब्लॉक में तरावीह की नमाज अदा करने के लिए खड़े हुए, तो उन्हें जय श्री राम के नारे सुनाई देने लगे.

“एक भीड़, उनमें से कुछ ने भगवा स्कार्फ पहने हुए थे, आकर हमें धक्का देना शुरू कर दिया और सवाल पूछा कि हमें वहां प्रार्थना करने की अनुमति किसने दी और वे हमें छात्रावास में प्रार्थना नहीं करने देंगे। जब तक हम कुछ समझ पाते, उन्होंने अपने पास मौजूद हथियारों से हमें पीटना और हमला करना शुरू कर दिया. सखा ने कहा, चाकू, पत्थर और क्रिकेट बैट से हमारे कई साथी छात्र घायल हो गए.

छात्र ने यह भी कहा कि विदेशी छात्रों की देखभाल के लिए जिम्मेदार अधिकारियों में से एक डॉ. ज्योति से संपर्क करने के बावजूद, उन्हें उनकी उम्मीदों के विपरीत प्रतिक्रिया मिली.

“उनकी (भीड़) संख्या बढ़ रही थी, कुछ ही समय में उनकी संख्या कम से कम 200 हो गई। फिर हमने पुलिस को फोन किया और उन्हें हमारे छात्रावास तक पहुंचने में एक घंटे से अधिक समय लग गया. पुलिस वाहनों का सायरन सुनकर और यह जानकर कि पुलिस आ गई है, अधिकांश भाग गए जबकि उनमें से कुछ परिसर में मौजूद थे. पुलिस ने उन्हें देखा, लेकिन उनके साथ कुछ नहीं किया. पुलिस के सामने वे भागने में सफल रहे और पुलिस ने उन्हें जाने दिया.

हमलावर छात्रों ने भारत सरकार से विश्वविद्यालय और देश में उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए कदम उठाने का आग्रह किया। रिपोर्ट में कहा गया है कि छात्र इस मामले में पुलिस में शिकायत दर्ज कराने की भी योजना बना रहे हैं.

ये अंतर्राष्ट्रीय छात्र भारत सरकार द्वारा शुरू किए गए भारतीय सांस्कृतिक संबंध परिषद (आईसीसीआर) द्वारा प्रस्तावित छात्रवृत्ति कार्यक्रम के एक भाग के रूप में भारत में अध्ययन कर रहे हैं.यह भारतीय केंद्रीय विश्वविद्यालयों में विभिन्न डिग्री कार्यक्रमों और विषयों में रुचि रखने वाले विदेशी छात्रों को वार्षिक छात्रवृत्ति प्रदान करता है.

इस मामले में गुजरात पुलिस और अहमदाबाद पुलिस के आयुक्त का भी अलग, अलग बयान आया है. पुलिस आयुक्त का कहना है कि मामला दर्ज कर लिया गया है. एक हमलावर की पहचान कर ली गई है. सभी वीडियो की जांच की जा रही है. उन्होने कहा कि सख्त कार्रवाई की जाएगी. सूचना मिलते ही पुलिस अधिकारी मौके पर पहुंच गए थे.

बीबीसी की एक खबर में विदेशी छात्रों के कमरों में तोड़ फोड़ किए जाने का विडियो सामने आया है. बताया गया कि हमलावरों ने इलेक्ट्रॉनिक यंत्र भी तोड़ दिए गए.
इस बीच विहिप नेता का भी बयान है.उन्होंने अपने वीडियो में माना कि हमले में उनके संगठन के कार्यकर्ता शामिल हैं.उन्होंने ओवैसी सहित कई लोगों का भी अपने बयान में नाम लिया और होस्टल में नमाज पढ़ने को लेकर आपत्ति जताई.
दूसरी तरफ होस्टल के विदेशी छात्र सवाल उठा रहे हैं कि बिना अनुमति उनके कैंपस में कोई नहीं आ सकता.फिर हमलावर कैसे घुसे ? बहरहाल, इस घटना से एक बार फिर भारत न केवल अंतरराष्ट्रीय मीडिया में छाया है, बल्कि देश की छवि को भी बट्टा लगा है.