फाल्कन लिटरेचर फेस्टिवल 2025: नूंह में रंगारंग रीड मार्च, कविताएं, नाटक और वैचारिक विमर्श का अद्वितीय आयोजन
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मुस्लिम नाउ ब्यूरो,,नूंह (हरियाणा)
फाल्कन अलिफ इंटरनेशनल स्कूल, नूह के प्रांगण में आयोजित फाल्कन लिटरेचर फेस्टिवल 2025 (FALCON LITERATURE FESTIVAL – FLF) ने शिक्षा, संस्कृति और समाजिक समरसता का एक प्रेरणादायक उदाहरण प्रस्तुत किया। महज डेढ़ महीने पहले अस्तित्व में आए इस नवोदित शिक्षण संस्थान ने जिस भव्यता, अनुशासन और वैचारिक गहराई के साथ साहित्य महोत्सव का आयोजन किया, उसने न केवल स्थानीय समाज को बल्कि पूरे मेवात क्षेत्र को एक नई चेतना से भर दिया।
पहला सत्र: दादा-दादी और नाना-नानी को समर्पित “ग्रैंड पैरेंट्स मीट”
महोत्सव का शुभारंभ दोपहर 2 बजे “ग्रैंड पैरेंट्स मीटिंग” से हुआ, जिसका उद्घाटन भारतीय जनता पार्टी के नूह ज़िला अध्यक्ष श्री सुरेंद्र सिंह पिंटू उजीना ने किया। उनके साथ मंच पर स्कूल के मैनेजिंग डायरेक्टर अब्दुल सुभान, शिक्षा संरक्षक साजिद कुरैशी, और उमर पाड़ला एवं फ़जरुद्दीन बेसर जैसे गणमान्य उपस्थित रहे।
इस सत्र में वरिष्ठ नागरिकों को विद्यार्थियों की शिक्षा और जीवन निर्माण में उनकी भूमिका के महत्व पर संबोधित किया गया। स्कूल प्रिंसिपल ने बैठक का संयोजन करते हुए अभिभावकों को बच्चों की पढ़ाई से जुड़ी उपयोगी और व्यवहारिक सलाह दी। सत्र की अध्यक्षता शिक्षाविद रमजान चौधरी ने की, जिन्होंने पीढ़ियों के बीच संवाद की आवश्यकता पर बल दिया।

दूसरा सत्र: संस्कृति की सड़कों पर—रंगारंग झांकी और रीड मार्च
दोपहर 4 बजे शुरू हुआ दूसरा सत्र बच्चों की सांस्कृतिक प्रस्तुतियों के नाम रहा। स्कूल के विद्यार्थियों ने ढोल-नगाड़ों की गूंज और रंग-बिरंगे परिधानों के साथ मंच पर नृत्य, गीत, कविता और नाटक प्रस्तुत किए।
इसके बाद “रीड मार्च” का आयोजन किया गया जो स्कूल से आरंभ होकर नूह कस्बे की गलियों और चौक-चौराहों से होता हुआ एक जन-सांस्कृतिक संवाद में बदल गया। इस मार्च में बच्चों ने नुक्कड़ नाटकों, कविताओं और गीतों के ज़रिए शिक्षा, पर्यावरण और सामाजिक चेतना जैसे विषयों को सजीव किया। स्थानीय नागरिकों की भारी भीड़ ने बच्चों की प्रस्तुतियों को सराहा और जगह-जगह पुष्पवर्षा कर स्वागत किया।
इस सत्र में भी मुख्य अतिथि के रूप में श्री सुरेंद्र सिंह की उपस्थिति रही और विद्यालय के शिक्षकों ने बच्चों के मार्गदर्शन में उल्लेखनीय योगदान दिया।
तीसरा सत्र: “इक़रा—एक विचार विमर्श”
शाम 6 बजे “इक़रा” शीर्षक से आयोजित तीसरा सत्र विचारों की गंभीरता और बौद्धिक विमर्श से परिपूर्ण रहा। इसका उद्घाटन हरियाणा विधानसभा में नूह के लोकप्रिय विधायक चौधरी आफताब अहमद ने किया। उनके साथ मंच पर हरियाणा सिविल सेवा अधिकारी मोहम्मद शफीक (HCS), भारतीय वन सेवा के अधिकारी फज़ल ख़ान (IFS), इस्लामिक विचारक मौलाना शेर मोहम्मद अमीनी, सूचना सेवा अधिकारी शाहिद कॉमठ (IIS) तथा सामाजिक चिंतक मुबासिर पीके उपस्थित रहे।
सत्र का संचालन स्कूल के वाइस प्रिंसिपल रबीह केरात ने किया। वक्ताओं ने शिक्षा की व्यापकता, नई पीढ़ी को वैचारिक रूप से सशक्त बनाने के उपाय, और मूल्यपरक शिक्षा के प्रसार पर अपने विचार साझा किए। यह सत्र छात्रों, शिक्षकों और अभिभावकों के लिए अत्यंत प्रेरणादायक रहा।
चौथा सत्र: साहित्यिक रात—गीत, संगीत और काव्य के संग
रात 8 बजे फाल्कन साहित्य महोत्सव के समापन सत्र का शुभारंभ हथीन के विधायक चौधरी मोहम्मद इसराइल ने किया। उनके साथ मंच पर समाज और प्रशासन के अनेक प्रतिष्ठित व्यक्ति उपस्थित रहे जिनमें साहब पटवारी सिंगार, इशाक तहसीलदार लखनाका, रफीक हथौड़ी प्रधान खेड़ला, डॉ. अरशद खान (अड़बर), अकबर कासमी, दीन मोहम्मद (घासेड़ा) और कालू सरपंच (जलालपुर) प्रमुख थे।
इस सत्र में बच्चों ने नाट्य प्रस्तुति, शायरी, भाषण और गायन के माध्यम से मंच को जीवंत कर दिया। कार्यक्रम का संयोजन और संचालन विद्यालय के प्रिंसिपल एवं वाइस प्रिंसिपल ने संयुक्त रूप से बखूबी संभाला।

अविस्मरणीय उपस्थिति और सम्मान
कार्यक्रम के समापन पर स्कूल के प्रिंसिपल ने रात्रि 10 बजे सभी अतिथियों, अभिभावकों, स्थानीय नागरिकों, प्रशासनिक अधिकारियों और प्रतिभागी बच्चों का आभार प्रकट किया।
महोत्सव में क्षेत्र के कई प्रतिष्ठित लोगों ने भागीदारी की, जिनमें लियाक़त अली मालब, इमरान खान, अरशद सरपंच, शौकीन अहमद, उस्मान खान, किफायत खान राठौड़ा, नुसरत सरपंच (नंगली), हाजी खुर्शीद सातपुत्यका, इरफान चंदेनी, तालीम हुसैन (एडवोकेट, हाईकोर्ट चंडीगढ़), कारी सिराजुद्दीन (भादस), मास्टर शफी एंकर, सलामुद्दीन एडवोकेट (पूर्व प्रधान, मेवात विकास सभा), तारिक खान, आबिद (दानीबास), डॉ. अजहर (गामा हॉस्पिटल), इरफान इंजीनियर, नाज़िम एडवोकेट, यूसुफ सेवका (लेक्चरर), सरफ़राज़ (लेक्चरर), हाजी अय्यूब, हाजी हारून सहित सैकड़ों महिलाओं और पुरुषों की गरिमामयी उपस्थिति रही।

शिक्षा का नया सूर्योदय
फाल्कन इंटरनेशनल स्कूल द्वारा आयोजित यह साहित्य महोत्सव मात्र एक सांस्कृतिक आयोजन नहीं, बल्कि एक सामाजिक संदेश था—कि शिक्षा सिर्फ किताबों तक सीमित नहीं, वह विचार, संस्कार और सामाजिक उत्तरदायित्व से भी जुड़ी है।
मात्र डेढ़ महीने के छोटे से सफर में जिस तरह से इस विद्यालय ने विद्यार्थियों की प्रतिभा, शिक्षकों की समर्पण भावना और समुदाय के सहयोग से एक ऐतिहासिक आयोजन किया, वह मेवात की धरती पर शिक्षा के एक उज्ज्वल भविष्य की नींव प्रतीत होता है।